अनिल विज ने किया मुख्यमंत्री पद के लिए दावा, बोले- "हरियाणा की तकदीर बदल दूंगा"



अनिल विज ने मुख्यमंत्री पद का दावा पेश किया, बोले- वरिष्ठता के दम पर मैं हरियाणा की तकदीर और तस्वीर बदल दूंगा।


हरियाणा के पूर्व गृह मंत्री अनिल विज ने आज मुख्यमंत्री पद के लिए किया दावा, बोले- "हरियाणा की तकदीर और तस्वीर बदल दूंगा"

अंबाला: हरियाणा के पूर्व गृह मंत्री और वरिष्ठ भाजपा नेता अनिल विज ने आज अंबाला छावनी में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान बड़ा ऐलान किया। उन्होंने कहा कि वह मुख्यमंत्री पद के लिए अपना दावा पेश करेंगे। विज ने कहा, "मुझसे पूरे हरियाणा के लोग पूछ रहे हैं कि सबसे वरिष्ठ होने के बावजूद मैं मुख्यमंत्री क्यों नहीं बना। अब मैं अपनी वरिष्ठता और जनता की मांग के आधार पर मुख्यमंत्री बनने का दावा कर रहा हूं।" हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि अंतिम निर्णय पार्टी पर निर्भर करता है।

विज ने आगे कहा, "अगर पार्टी मुझे प्रदेश का मुख्यमंत्री बनाती है, तो मैं हरियाणा की तकदीर और तस्वीर बदलने का वादा करता हूं।"

विज के राजनीतिक सफर की कहानी: 6 बार विधायक, अब सातवीं बार मैदान में

अनिल विज अंबाला छावनी से 6 बार विधायक रह चुके हैं और इस बार वह सातवीं बार चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं। विज ने बताया कि विपक्ष में रहते हुए भी उन्होंने जनता की आवाज को बुलंद किया और सरकार के गलत फैसलों के खिलाफ लगातार संघर्ष किया।

विज ने अंबाला के सुभाष पार्क और गांधी ग्राउंड जैसी परियोजनाओं को बचाने के लिए अपनी लड़ाई का जिक्र किया। उन्होंने बताया कि किस तरह उन्होंने अदालत का सहारा लेकर इन स्थानों को बचाया और जनता के हित में काम किया।

विकास कार्यों पर फोकस

अनिल विज ने अपने विकास कार्यों और भविष्य की योजनाओं पर भी बात की। उन्होंने कहा कि अगर उन्हें मुख्यमंत्री बनाया जाता है, तो वह राज्य में नई परियोजनाएं लाकर हरियाणा के विकास को नई दिशा देंगे। उन्होंने यह भी कहा कि उनके संघर्षों की वजह से कई बार उन्हें अर्धनग्न प्रदर्शन तक करना पड़ा, जिसे आज भी देश भर में चर्चा का विषय बनाया जाता है।

भाजपा में बढ़ते टकराव के संकेत?

विज के इस बयान से भाजपा में भी हलचल मच गई है। उनके इस ऐलान से यह संकेत मिल रहे हैं कि हरियाणा में सत्ता के शीर्ष पर अंदरूनी टकराव हो सकता है। वहीं, विज ने अपने बयान में पार्टी के फैसले का सम्मान करने की बात कही, लेकिन उनका यह दावा भाजपा के शीर्ष नेतृत्व के लिए एक चुनौती हो सकता है।

अब यह देखना दिलचस्प होगा कि भाजपा नेतृत्व इस पर क्या प्रतिक्रिया देता है और क्या विज का यह सपना पूरा होगा या नहीं।

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