मृतक धर्मेंद्र यादव की फाइल फोटो |
मछलीशहर में सड़क पार करते समय ट्रक की चपेट में आने से जिला अस्पताल के कंप्यूटर ऑपरेटर की दर्दनाक मौत, परिवार में मातम।
इंद्रेश तिवारी की रिपोर्ट
मछलीशहर: कंप्यूटर ऑपरेटर की सड़क दुर्घटना में मौत, परिवार पर टूटा दुखों का पहाड़
मछलीशहर, जौनपुर: स्थानीय रोडवेज पर बुधवार सुबह हुई एक दर्दनाक सड़क दुर्घटना में जिला अस्पताल जौनपुर के पैथोलॉजी विभाग में संविदा पर तैनात कंप्यूटर ऑपरेटर धर्मेंद्र यादव की जान चली गई। हादसा इतना भयावह था कि धर्मेंद्र ट्रक की चपेट में आकर बुरी तरह घायल हो गया और इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। घटना के बाद से क्षेत्र में शोक की लहर दौड़ गई है, जबकि परिवार में मातम का माहौल है। धर्मेंद्र की पत्नी पूजा और उनके दो छोटे बच्चों का रो-रो कर बुरा हाल है।
घटना का विवरण
धर्मेंद्र यादव (28 वर्ष), जो खाखोपुर टटिहरा गांव का निवासी था, रोज की तरह बुधवार को भी सुबह आठ बजे घर से मछलीशहर रोडवेज बस स्टैंड पहुंचा था। वह वहां से बस पकड़कर अपने काम के लिए जौनपुर जिला अस्पताल जा रहा था। बस स्टैंड के पास सड़क पार करते समय, एक तेज रफ्तार ट्रक ने उसे टक्कर मार दी। यह हादसा इतना अचानक हुआ कि धर्मेंद्र संभल नहीं पाया और ट्रक के अगले टायर के नीचे आ गया। हादसे में वह बुरी तरह से कुचल गया, जिससे उसकी मौके पर ही स्थिति गंभीर हो गई। स्थानीय लोगों ने तुरंत पुलिस को सूचना दी और कस्बा इंचार्ज कृष्णा नंद यादव मौके पर पहुंचे। घायल धर्मेंद्र को तुरंत एंबुलेंस से जिला अस्पताल जौनपुर ले जाया गया, लेकिन इलाज के दौरान ही उसकी मौत हो गई।
धर्मेंद्र का पारिवारिक जीवन
धर्मेंद्र यादव का विवाह करीब छह साल पहले हरदुआ गांव निवासी पूजा से हुआ था। उनके दो छोटे बच्चे हैं – चार साल का रिसभ और दो साल की बेबो। परिवार में उसकी मौत के बाद से मातम का माहौल है, और उसकी पत्नी पूजा का रो-रो कर बुरा हाल है। धर्मेंद्र के बड़े भाई महेंद्र यादव, जो प्राथमिक विद्यालय में शिक्षक हैं, ने बताया कि धर्मेंद्र एक जिम्मेदार और मेहनती व्यक्ति था। परिवार के साथ उसकी यह अनहोनी एक बड़ा सदमा है।
इलाके में शोक और आक्रोश
घटना के बाद स्थानीय लोगों में शोक और आक्रोश की लहर है। कई लोगों का मानना है कि तेज रफ्तार वाहन और असुरक्षित सड़कें इस प्रकार की दुर्घटनाओं के प्रमुख कारण बन रहे हैं। मछलीशहर रोडवेज बस स्टैंड पर आए दिन यातायात का दबाव बढ़ता जा रहा है, जिससे सड़क पार करना एक चुनौती बन चुका है। स्थानीय निवासियों ने इस घटना पर गहरा दुख व्यक्त किया और प्रशासन से मांग की है कि रोडवेज पर यातायात सुरक्षा के इंतजाम किए जाएं, ताकि भविष्य में इस तरह की दुर्घटनाएं न हों।
पुलिस की कार्रवाई
कोतवाली पुलिस ने घटना के तुरंत बाद ट्रक को अपने कब्जे में ले लिया और चालक के खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू कर दी है। मृतक का शव पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है, और पुलिस मामले की जांच कर रही है। क्षेत्र के लोग उम्मीद कर रहे हैं कि धर्मेंद्र के परिवार को न्याय मिलेगा और इस प्रकार की दुर्घटनाओं को रोकने के लिए ठोस कदम उठाए जाएंगे।
ट्रैफिक की समस्या और संभावित समाधान
मछलीशहर रोडवेज, जहां यह हादसा हुआ, वहां यातायात का दबाव हमेशा अधिक रहता है। स्थानीय लोग कहते हैं कि यहां कई बार वाहनों की गति सीमा का उल्लंघन किया जाता है, जो दुर्घटनाओं को बढ़ावा देता है। हालांकि सड़क पर ट्रैफिक पुलिस की निगरानी होती है, लेकिन हादसे फिर भी होते रहते हैं। इस घटना के बाद स्थानीय निवासियों ने प्रशासन से आग्रह किया है कि रोडवेज के पास एक ट्रैफिक सिग्नल या फ्लाईओवर का निर्माण किया जाए, ताकि पैदल यात्रियों को सुरक्षित रूप से सड़क पार करने का अवसर मिले।
परिवार के प्रति संवेदनाएं
धर्मेंद्र यादव के असामयिक निधन पर पूरे क्षेत्र में शोक की लहर है। सामाजिक कार्यकर्ता, सरकारी अधिकारी, और स्थानीय नेता भी उनके परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त कर रहे हैं। जौनपुर जिला अस्पताल के कर्मचारी भी इस घटना से स्तब्ध हैं, क्योंकि धर्मेंद्र अपने कार्य के प्रति समर्पित और अनुशासित कर्मचारी थे। अस्पताल प्रशासन ने भी इस दुखद घटना पर गहरा शोक व्यक्त किया है और धर्मेंद्र के परिवार को हर संभव मदद का आश्वासन दिया है।
धर्मेंद्र यादव की मृत्यु एक बार फिर यह साबित करती है कि हमारे देश में सड़कों पर यातायात सुरक्षा को लेकर गंभीर प्रयास किए जाने की आवश्यकता है। इस प्रकार की घटनाएं लोगों के जीवन को बर्बाद कर देती हैं और उनके परिवारों पर गहरा असर डालती हैं। प्रशासन और स्थानीय अधिकारियों को चाहिए कि वे ऐसे हादसों को रोकने के लिए जरूरी कदम उठाएं, ताकि कोई और परिवार इस तरह की त्रासदी का शिकार न हो।
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