गजब! पूर्व विधायक ने मंत्री की बहन को लगाया 49 लाख का चूना, फर्जीवाड़ा कर हड़पे पैसे; पुलिस ने किया गिरफ्तार



गाजीपुर के पूर्व विधायक सुभाष पासी ने मंत्री नितिन अग्रवाल की बहन को 49 लाख का चेक लेकर ठगा। पुलिस ने किया गिरफ्तार।

उत्तर प्रदेश के हरदोई में गाजीपुर के पूर्व विधायक सुभाष पासी पर लगे गंभीर आरोपों ने सनसनी फैला दी है। सुभाष पासी, जो पहले गाजीपुर विधानसभा क्षेत्र से विधायक रह चुके हैं, पर मंत्री नितिन अग्रवाल की बहन समेत अन्य लोगों को धोखाधड़ी से ठगने का आरोप है।

कैसे हुआ मामला उजागर?

हरदोई शहर कोतवाली क्षेत्र के रेलवेगंज निवासी प्रकाश चंद्र गुप्ता ने 10 अक्टूबर 2023 को इस मामले की शुरुआत की। अपनी रिपोर्ट में उन्होंने बताया कि गाजीपुर निवासी और मुंबई के जुहू चर्च रोड स्थित पटेलवाड़ी में रहने वाले सुभाष पासी से उनकी मुलाकात अक्षय अग्रवाल के माध्यम से हुई थी। सुभाष ने प्रकाश को भरोसा दिलाया कि वह प्रॉपर्टी डीलिंग का काम करते हैं और उनके पास मुंबई के आरामनगर में एक फ्लैट है, जिसे वह ढाई करोड़ रुपये में बेचने की पेशकश कर रहे हैं।

49 लाख का चेक और फर्जीवाड़ा

प्रकाश चंद्र ने यह डील रुचि गोयल तक पहुंचाई, जो उत्तर प्रदेश सरकार के आबकारी मंत्री नितिन अग्रवाल की बहन हैं। रुचि गोयल ने सुभाष और उनकी पत्नी रीना पासी को 49 लाख रुपये का चेक दे दिया। लेकिन जब प्रकाश चंद्र मुंबई में फ्लैट देखने गए, तो उन्हें फर्जी दस्तावेज सौंप दिए गए।

प्रकाश और अक्षय दोनों हुए ठगी के शिकार

प्रकाश चंद्र गुप्ता के बाद अक्षय अग्रवाल ने भी 9 अगस्त 2023 को पुलिस में शिकायत दर्ज कराई। उन्होंने बताया कि सुभाष पासी और उनकी पत्नी ने 49 लाख रुपये हड़प लिए और फ्लैट के नाम पर फर्जीवाड़ा किया। इसके बाद, दोनों मामलों की जांच शुरू हुई और पुलिस ने चार्जशीट दाखिल की।

गैंगस्टर एक्ट में हुई कार्रवाई

हरदोई पुलिस ने इस मामले को गंभीरता से लिया। तत्कालीन कोतवाल संजय पांडेय ने 31 जनवरी 2024 को सुभाष और उनकी पत्नी रीना पासी के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट के तहत मामला दर्ज किया। इसके बाद से पुलिस लगातार उनकी तलाश में जुटी रही।

कैसे हुई गिरफ्तारी?

लंबे समय से फरार चल रहे सुभाष पासी को आखिरकार हरदोई पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। सीओ सिटी अंकित मिश्रा ने गिरफ्तारी की पुष्टि करते हुए बताया कि पुलिस उन्हें जल्द ही कोर्ट में पेश करेगी।

सियासी हलकों में मची हलचल

इस घटना के बाद सियासी गलियारों में हलचल मच गई है। सुभाष पासी जैसे वरिष्ठ नेता का नाम ऐसे बड़े फर्जीवाड़े में आने से उनकी छवि को गहरा आघात पहुंचा है। बीजेपी के कई नेताओं ने इस घटना की कड़ी निंदा की है।

पुलिस की सतर्कता

हरदोई पुलिस ने इस मामले में बेहद सतर्कता बरती। यह मामला आम धोखाधड़ी का नहीं था, बल्कि इसमें एक बड़े राजनीतिक परिवार को ठगने की साजिश थी। पुलिस ने मामले की तह तक जाने के लिए डिजिटल सबूत, बैंकिंग लेनदेन, और फोन रिकॉर्ड खंगाले।

क्या था फ्लैट का सच?

जांच के दौरान पता चला कि सुभाष पासी ने जिस फ्लैट का सौदा किया था, वह पहले से ही किसी अन्य के नाम पर था। उन्होंने फर्जी कागजात बनाकर प्रकाश और रुचि गोयल को धोखा दिया।

आगे की कार्रवाई

अब पुलिस ने सुभाष पासी को हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू कर दी है। उनकी पत्नी रीना पासी की तलाश जारी है। कोर्ट में पेशी के बाद उम्मीद है कि और भी बड़े खुलासे हो सकते हैं।

जनता का आक्रोश

इस घटना ने जनता के बीच रोष पैदा कर दिया है। लोग सवाल कर रहे हैं कि कैसे एक पूर्व विधायक इतने बड़े स्तर पर फर्जीवाड़ा कर सकते हैं।

यह मामला एक बार फिर से दिखाता है कि कैसे सत्ता और विश्वास का गलत इस्तेमाल करके आम लोगों को ठगा जा सकता है। पुलिस की तत्परता और सतर्कता ने इस मामले में बड़ा कदम उठाया है, लेकिन यह घटना हमें सतर्क रहने की सीख भी देती है।

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