बरेली के इंडो पब्लिक स्कूल में ट्यूशन से इंकार करने पर शिक्षिका ने छात्रा को बेरहमी से पीटा, कान का पर्दा फटा, प्रधानाचार्य समेत तीन पर FIR।
संवाददाता शानू की रिपोर्ट
बरेली: शिक्षा के मंदिर को बदनाम करने वाली एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है। बरेली के इंडो पब्लिक स्कूल में ट्यूशन पढ़ने से इंकार करने पर शिक्षिका ने नौ वर्षीय छात्रा की बेरहमी से पिटाई कर दी, जिससे उसका कान बुरी तरह प्रभावित हुआ। दर्द और सुनाई न देने की शिकायत के बाद छात्रा के पिता जब स्कूल पहुंचे, तो प्रधानाचार्य और उनकी पत्नी ने न केवल शिकायत पर ध्यान देने से इंकार कर दिया बल्कि उनके साथ हाथापाई भी की। पीड़ित पिता की तहरीर पर पुलिस ने प्रधानाचार्य, उनकी पत्नी और शिक्षिका के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली है और छात्रा का मेडिकल परीक्षण कराया गया है।
ट्यूशन माफिया का आतंक – स्कूल में दबाव और प्रताड़ना
बिथरी चैनपुर के खजुरिया सैदपुर निवासी अकरम की बेटी माहिरा कक्षा 5 की छात्रा है। अकरम के अनुसार, स्कूल में प्रधानाचार्य जुल्फिकार, उनकी पत्नी साहनी और शिक्षिका सबनूर मिलकर बच्चों पर ट्यूशन पढ़ने के लिए जबरदस्ती दबाव बनाते हैं। छात्रों को प्रताड़ित करने का यह सिलसिला काफी समय से जारी था। ट्यूशन से इंकार करने वाले बच्चों को शारीरिक दंड दिया जाता था।
बुधवार को जब माहिरा ने ट्यूशन पढ़ने से मना किया तो शिक्षिका सबनूर ने उसे और अन्य बच्चों को बेरहमी से पीट दिया। माहिरा को जोरदार थप्पड़ मारे गए, जिससे उसका एक कान दर्द करने लगा और उसकी सुनने की क्षमता प्रभावित हो गई। जब वह घर पहुंची तो उसने रोते हुए अपनी मां-पिता को आपबीती सुनाई।
प्रधानाचार्य और उनकी पत्नी ने की हाथापाई, TC भी नहीं दी
माहिरा के पिता जब स्कूल पहुंचे और शिक्षिका सबनूर की शिकायत की, तो प्रधानाचार्य जुल्फिकार और उनकी पत्नी साहनी आग-बबूला हो गए। उन्होंने न केवल शिकायत को नजरअंदाज किया बल्कि उल्टा पिता के साथ हाथापाई की। जब उन्होंने बेटी की ट्रांसफर सर्टिफिकेट (TC) मांगी, तो उन्हें धक्के देकर स्कूल से निकाल दिया गया।
मामला पुलिस तक पहुंचा, तीनों आरोपियों पर केस दर्ज
माहिरा के पिता ने पूरी घटना की शिकायत बिथरी चैनपुर थाने में दर्ज कराई। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए प्रधानाचार्य जुल्फिकार, उनकी पत्नी साहनी और शिक्षिका सबनूर के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली। साथ ही, छात्रा का मेडिकल परीक्षण कराया गया है ताकि कान की चोट की गंभीरता का पता लगाया जा सके।
शिक्षा संस्थानों में ट्यूशन माफिया का बढ़ता शिकंजा
यह मामला सिर्फ एक छात्रा की प्रताड़ना तक सीमित नहीं है, बल्कि यह एक बड़े ट्यूशन माफिया की ओर इशारा करता है, जो स्कूलों में बच्चों और अभिभावकों पर जबरन ट्यूशन लेने के लिए दबाव डालते हैं। इस तरह की घटनाएं शिक्षा प्रणाली पर सवाल खड़े करती हैं।
अब यह देखना दिलचस्प होगा कि प्रशासन इस मामले में क्या कदम उठाता है और क्या दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाती है या फिर यह मामला भी अन्य मामलों की तरह दबा दिया जाएगा।
0 टिप्पणियाँ